
पटना – डेंगू के मरीजों की संख्या गुरुवार को 2000 के पार हो गयी। यह आंकड़ा अपने आप में चिंता की लकीरें खींच रही हैं। हर रोज डेंगू के मरीजों की संख्या बढ़ रही है। एक दिन में 164 मरीजों में डेंगू पॉजिटिव पाया गया है। वहीं, एक और मरीज की मौत हो गई।
पीएमसीएच की वायरोलॉजी लैब में जांच के बाद 132 मरीजों में पॉजिटिव पाया गया और देर शाम तक सात और मरीज भर्ती हुए हैं। वहीं अस्पताल के डेंगू वार्ड में अभी 40 मरीज भर्ती होकर इलाज करा रहे हैं। कुल मिलाकर अभी तक सिर्फ पटना में 2006 मरीज डेंगू के चिह्नित हो चुके हैं। यही बात प्राइवेट अस्पतालों की है। राजेश्वर अस्पताल में छह, सहयोग हॉस्पिटल में सात, रूबन अस्पताल में तीन, सांईं अस्पताल में छह व जगदीश अस्पताल में 13 मरीज पॉजिटिव पाये गए हैं। संख्या और बढ़ेगी।
केंद्रीय टीम रोकथाम की जानकारी लेने को पहुंची
बिहार में डेंगू की इलाज व्यवस्था की समीक्षा करने को लेकर केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा गठित पांच सदस्यीय टीम गुरुवार को एनएमसीएच के मेडिसीन विभाग व माइक्रोबायोलॉजी लैब का निरीक्षण किया। टीम में बिहार-झारखंड के सीएमओ डॉ. रविशंकर गुप्ता, नई दिल्ली के राममनोहर लोहिया अस्पताल के डॉ. प्रभात, कोलकाता मेडिकल के डॉ. पापिया दास व डॉ. एस भट्टाचार्य के अलावा डॉ. एम हुसेन शामिल थे। टीम का नेतृत्व डॉ. पापिया दास कर रहे थे। टीम ने निरीक्षण के दौरान मेडिसीन विभाग केडी व ई वार्ड में भर्ती मरीजों के बारे में इलाज कर रहे डॉक्टरों से जानकारी हासिल की।
ठंड बढ़ते ही कम होने लगेगा असर
अक्टूबर का पूरा महीना डेंगू के आतंक से प्रभावित रहेगा। डेंगू का बुखार सबसे अधिक जुलाई से अक्टूबर महीने के बीच की अवधि में होता है। इस मौसम में मच्छरों के पनपने की अनुकूल परिस्थितियां होती हैं। पीएमसीएच के मुख्य आकस्मिक चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. अभिजीत सिंह ने बताया कि डेंगू के बुखार से बचने के भी तरीके हैं। अगर हम इस मौसम में कुछ सावधानियां गंभीरतापूर्वक बरतेंगे तो डेंगू से बचे रहेंगे। अभी दीपावली तक डेंगू के बुखार या एडीज मच्छर के वायरस से परेशानी होगी। मौसम में ठंडापन बढ़ने से मरीजों की संख्या में कमी आएगी।
पटना के उमेश की गई जान
पटना के बोरिंग कैनाल रोड स्थित आनंदपुरी के नारायणीश्री अपार्टमेंट में रहने वाले उमेश कुमार उर्फ डब्लू की मौत डेंगू से हो गई है। एक सप्ताह पहले उमेश की तबीयत बिगड़ी और जांच में डेंगू पॉजिटिव आया था। पटना के एक नर्सिंग होम में इलाज चल रहा था लेकिन हालत ज्यादा बिगड़ने पर परिजनों ने दिल्ली स्थित मैक्स में भर्ती कराया लेकिन उमेश कुमार को बचाया नहीं जा सका। अपार्टमेंट के लोगों ने बताया कि डेंगू पॉजिटिव जब पाया गया तब तक उमेश का प्लेटलेट्स काफी कम हो गया था। गुरुवार को उनके परिजनों ने मृतक का अंतिम संस्कार किया।