झारखंड में भाजपा सरकार के तख्ता पलट के एक बड़े किरदार और मुख्यमंत्री रघुवर दास को पराजित करने वाले बिहार के सरयू राय को अपनी सफलता का बिल्कुल घमंड नहीं है। उन्होंने कहा, “मैं इस भ्रम में नहीं हूं कि मैं जीता। चुनाव जनता लड़ी, वही जीती। उसी ने मुझे इस गवाही लायक बनाया कि राजनीति में अब भी संघर्ष और ईमानदारी की भरपूर गुंजाइश है यह हर स्तर पर स्वीकार भी की जाती है।
सरयू ने कहा कि मुख्यमंत्री रहे दो लोग (लालू प्रसाद, मधु कोड़ा) मेरे कारण जेल गए। रघुवर दास के विरुद्ध भी भ्रष्टाचार के प्रयाप्त साक्ष्य हैं। कई पीआईएल दायर है। भ्रष्टाचार का खात्मा मेरा बुनियादी उसूल है। लड़ाई जारी है।
मैंने सबको लगातार रघुवर सरकार के कारनामे बताए, किसी ने नहीं सुना। अब भाजपा में कार्यकर्ताओं की बात नहीं सुनी जाती। पहले सुनी जाती थी, कार्रवाई होती थी। मैंने पद नहीं मांगा था। मंत्री बना दिया। मैं सरकार में शर्मिंदा था। निकल गया। इस बार के चुनाव में अंतिम समय तक मेरा टिकट होल्ड पर रखा गया। मगर अब तो दल, गिरोह बनते जा रहे हैं। कमोबेश सभी पार्टियां इस रास्ते बहुत तेजी से बढ़ी हुईं हैं, भाजपा भी।
उन्होंने स्पष्ट किया कि वे सोरेन सरकार में सम्मिलित नहीं होंगे। इसके गुण-दोष के आधार पर समर्थन अथवा विरोध करेंगे।
उन्होंने भाजपा में वापसी करने से भी मना कर दिया।