पटना – कोरोना विषाणु के संक्रमण के बढ़ते संकट को देखते हुए रेलवे बोर्ड ने सभी रेल जोन को पीपीइ किट बनाने का निर्देश दिया, ताकि रेलवे में कार्यरत चिकित्सकों व नर्सिंग कर्मचारियों के बीच पीपीइ किट की कमी नहीं रहे। इस निर्देश के आलोक में भारतीय रेल के सभी जोन में पीपीइ किट बनाने की प्रक्रिया आरम्न्भ की गयी। पूर्व मध्य रेल में सिर्फ दानापुर रेलमंडल में निजी एजेंसी के सहयोग से पाटलिपुत्र औद्योगिक क्षेत्र में किट बनायी जा रही है।
दानापुर रेलमंडल ने पीपीइ किट बनाने में भारतीय रेल में दूसरा स्थान प्राप्त किया है।
विदित हो कि पूर्व मध्य रेल में 30 हजार किट बनानी है, जिसमें गुरुवार की सायं तक 2250 से अधिक किट बनायी जा चुकी हैं। पूर्व मध्य रेल के सीपीआरओ राजेश कुमार ने बताया कि उत्तर रेलवे ने किट बनाने में प्रथम स्थान प्राप्त किया है और दूसरे स्थान पर पूर्व मध्य रेल है। 30 मई तक शत-प्रतिशत किट प्रत्येक हाल में तैयार कर ली जायेगी।
बता दें कि कोरोनावायरस महामारी से लड़ने के लिए भारतीय रेलवे भी पूरी तैयारी कर रही है। रेलवे द्वारा पृथक्रकरण कोच तैयार किया जा रहा है। कोरोनावायरस से बचाव के लिए रेल के सैकड़ों रेल कोचों में पृथक्रकरण शय्या तैयार किये गये हैं। पृथक्रकरण कोच में रोगियों के लिए केबिन बनाने के लिए एक तरफ की मध्य बर्थ को हटा दिया गया है और रोगी के बर्थ के सामने वाली तीनों बर्थ को हटा दिया गया है। सीट पर चढ़ने के लिए लगाई गई सीढ़ियों को भी हटा दिया गया है। पृथक्रकरण कोच तैयार करने के लिए शौचालय और अन्य भागों में भी परिवर्तन किया गया है।
वहीं, कोरोना संक्रमण के बढ़ते संकट को देखते हुए तालाबंदी-२ तीन मई तक लगाया गया है। इस पर्यंत यात्री ट्रेनों का परिचालन स्थगित किया गया है। चार मई से तालाबंदी समाप्त हो सकता है। लेकिन, यात्री ट्रेनों में आरक्षण बंद है। इससे चार मई से भी यात्री ट्रेनों के परिचालन पर अभी संशय है। यद्यपि, पूर्व मध्य रेल चार माई से यात्री ट्रेनों के परिचालन को लेकर आंतरिक तैयारी करने में जुट गया है। इसको लेकर स्टेशनों के प्लेटफॉर्म पर एक द्वार से प्रवेश होगा। एक-एक यात्रियों की ऊष्मीय जांच करने के बाद ही प्लेटफॉर्म पर भेजा जायेगा।